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उत्तर प्रदेश के सभी सरकारी और निजी मेडिकल कॉलेजों में अब पहले की तरह सभी सुविधाएं मिलने लग जाएंगी. उत्तर प्रदेश की योगी आदित्यनाथ सरकार ने राज्य के अस्पतालों में लगाए गए सभी प्रतिबंधों को हटा दिया है. यूपी सरकार ने कोरोना वायरस के मामलों में लगातार आ रही कमी को देखते हुए ये निर्णय लिया है. अभी सभी मेडिकल कॉलेजों में एक निश्चित संख्या में मरीज ओपीडी में देखे जा रहे हैं और भर्ती किए जा रहे हैं. मरीजों को इसके लिए नंबर लेना पड़ता है और डॉक्टर द्वारा निश्चित किए गए दिन ही उसे अस्पताल पहुंचना पड़ता है. अब वह कभी भी जाकर डॉक्टर को दिखा सकेगा.
चिकित्सा शिक्षा विभाग के सचिव जीएस प्रियदर्शी की ओर से जारी आदेश कहा गया है कि सभी मेडिकल कॉलेजों में अब ओपीडी और आईपीडी सेवाएं पूरी तरीके से संचालित की जाएंगी. मरीजों को पहले की तरह ही उपचार व जांच की सुविधा दी जाएगी. वहीं कोरोना मरीजों के लिए एक अलग वार्ड बनाया जाएगा.
गौरतलब हो कि कोरोना का संक्रमण कम होने के कारण कोविड-19 के लेवल वन के अस्पताल पहले ही बंद किए जा चुके हैं. 100 मेडिकल कॉलेजों और अस्पताल में चलाए जा रहे लेवल टू और लेवल थ्री के अस्पताल भी घटाकर सिर्फ 67 कर दिए गए थे. अभी तक मेडिकल कॉलेजों में टोकन सिस्टम से ओपीडी में मरीजों को देखा जा रहा था.
यूपी सरकार के इस फैसले से मरीजों को काफी राहत मिल जाएगी. लखनऊ स्थित किंग जॉर्ज चिकित्सा यूनिवर्सिटी (केजीएमयू), संजय गांधी पीजीआई के साथ-साथ प्रदेश के दूसरे बड़े चिकित्सा संस्थानों के उत्तर प्रदेश आयुर्विज्ञान विश्वविद्यालय, डॉ. राम मनोहर लोहिया आयुर्विज्ञान संस्थान, राजकीय आयुर्विज्ञान संस्थान और सुपर स्पेशियलिटी बाल चिकित्सालय समेत सरकारी मेडिकल कॉलेजों में पहले की ही तरह इलाज की सुविधाएं बेहाल किए जाने से मरीजों को मिलेगी बडी राहत।.
पत्रकार रिचा निगम
द अचीवर टाइम्स लखनऊ