राजस्थान में सियासी खींचतान जारी है। सोमवार को राजस्थान उच्च न्यायालय और उच्चतम न्यायालय में अलग-अलग याचिकाओं पर सुनवाई होनी है। इसी बीच मुख्यमंत्री अशोक गहलोत और राज्यपाल कलराज मिश्र के बीच भी तनाव बढ़ रहा है। रविवार को मुख्यमंत्री ने राज्यपाल को विधानसभा का सत्र बुलाने से संबंधित एक नया प्रस्ताव भेजा था। इसकी फाइल सोमवार को राजभवन ने लौटा दी है। यह दूसरी बार है जब राज्यापल ने सत्र बुलाने की मांग को ठुकराया है।
राजभवन ने लौटाई फाइल
राजभवन ने विधानसभा सत्र बुलाने से संबंधित फाइलें राज्य के संसदीय कार्य विभाग को वापस कर दी है। राजभवन ने राज्य सरकार से कुछ अतिरिक्त विवरण भी मांगे हैं। विधानसभा सत्र पर अभी तक कोई निर्णय नहीं लिया गया है। यह जानकारी सूत्रों के द्वारा दी गई है।
संवैधानिक और कानूनी स्थिति पैदा हो गई है: सतीश पूनिया
राजस्थान भाजपा के अध्यक्ष सतीश पूनिया ने बसपा द्वारा अपने विधायकों को व्हिप जारी कर सदन में कांग्रेस के खिलाफ वोट करने को लेकर कहा, ‘बसपा के महासचिव एससी मिश्रा ने राज्यपाल और विधानसभा स्पीकर को पत्र लिखा है। इसमें उन्होंने बसपा-कांग्रेस के कथित विलय को असंवैधानिक बताया है। याचिका पर सोमवार को राजस्थान उच्च न्यायालय में सुनवाई होनी है। एक संवैधानिक और कानूनी स्थिति पैदा हो गई है। या तो उच्च न्यायालय को फैसला करना चाहिए या राज्यपाल को इस मामले में हस्तक्षेप करना चाहिए।’