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रखें जरूरत का ध्यान, हेल्थ चेकअप पैकेज लेने से पहले

विश्व स्वास्थ्य संगठन के अनुसार, विश्व भर में 70 प्रतिशत लोग न्यू वर्ल्ड सिंड्रोम यानी बीमारियों के एक समूह में से किसी न किसी बीमारी से पीड़ित हैं। इससे बचने का उपाय है समय पर हेल्थ चेकअप कराना।

वर्ल्ड सिंड्रोम कीटाणु या संक्रमण से होने वाली बीमारी नहीं, बल्कि खराब जीवनशैली व आहार संबंधी गलत आदतों से होने वाली बीमारियों का संयोजन है। इसकी वजह से मोटापा, उच्च रक्तचाप, डायबिटीज, हृदय रोग, पॉलीसिस्टिक ओवरियन सिंड्रोम ड्रोम,थाइरॉएड जैसे जीवनशैली से जुड़े रोग पनपते हैं, जो पीढ़ी दर पीढ़ी स्वास्थ्य को प्रभावित करते हैं। इनसे बचने का सबसे प्रभावी तरीका है, जागरूकता और समय-समय पर जरूरी स्वास्थ्य परीक्षण कराना, जिसके लिए विभिन्न तरह के हेल्थ चेकअप पैकेज मौजूद हैं।

क्यों है जरूरत
किसी भी समस्या के शुरू होने पर हमारा शरीर संकेत देता है। लगातार बढ़ता या घटता हुआ वजन, सिर में गंजापन और शरीर पर बढ़ते बाल, बुझी-सी आंखें, पीली रंगत, भोजन के प्रति अरुचि, इच्छा-शक्ति में कमी, सिरदर्द, थकावट, सांस फूलना, जैसे लक्षण भले ही देखने में छोटे महसूस हों लेकिन इनका लगातार बने रहना या बार-बार इनमें से किसी लक्षण का नजर आना गंभीर समस्या की ओर संकेत करता है। इनमें से कोई भी समस्या आपकी तरफ बढ़ रही है, इसकी जानकारी हेल्थ चेकअप से हो सकती है। इस आधार पर आप बीमारी से बचने के उपाय भी समय पर कर पाएंगे और स्वस्थ भी रह पाएंगे। इसके लिए सही जांच और पैकेज की जानकारी बेहद महत्वपूर्ण हो जाती है।
कैसे चुनें सही पैकेज
शारीरिक लक्षणों के आधार पर डॉक्टर कई टेस्ट लिखते हैं, जिन्हें अलग-अलग करवाया जा सकता है। विभिन्न लैब तथा हॉस्पिटलों में मौजूद हेल्थ पैकेज का चुनाव भी बेहतर विकल्प है। इससे समय और पैसे दोनों की बचत होती है। अपने स्वास्थ्य पर निगरानी रखने के उद्देश्य से बिना डॉक्टरी परामर्श के भी हेल्थ चेकअप करवाया जा सकता है, बस अपने शरीर की सुनें कि वह क्या संकेत देता है। इसी के आधार पर किसी विश्वसनीय लैब के हेल्थ पैकेज को ध्यानपूर्वक पढ़ कर सुनिश्चित कर लें कि कौन-सा पैकेज आपके उद्देश्य पर खरा उतरता है और आपकी समस्या से संबंधित पर्याप्त परिणाम उपलब्ध कराता है।
क्या-क्या हैं विकल्प 
हर बड़े हॉस्पिटल में प्रीवेंटिव हेल्थ प्रोगाम (पीएचपी) के तहत कई तरह के हेल्थ पैकेज की सुविधा होती है, जिनमें व्यक्ति की उम्र व इच्छित टेस्ट को देखते हुए बेसिक, ब्रोन्ज, सिल्वर, गोल्ड, टाइटेनियम व प्लैटिनम हेल्थ चेकअप जैसे पैकेज उपलब्ध हैं। हर पैकेज का खर्च करवाए जाने वाले टेस्ट की संख्या पर निर्भर करता है। आजकल ऑनलाइन भी कई तरह के हेल्थ चेकअप पैकेज बुक करवाने की सुविधा है। इसके लिए पहले उसकी र्रेंटग पर अवश्य नजर डालें।
चेकअप से पूर्व 
चेकअप के लिए जाने से पूर्व ध्यान से दिशा-निर्देश पढ़ें ताकि पता चल सके कि क्या कोई टेस्ट खाली पेट करवाना है या उसके लिए कितने घंटे की फास्टिंग जरूरी है। किसी भी प्रकार का नशा, धूम्रपान, गरिष्ठ भोजन और दवाएं टेस्ट से पहले वर्जित हैं। महिलाओं के लिए कुछ विशेष निर्देश होते हैं। कई टेस्ट माहवारी के दिनों की गणना के आधार पर होते हैं।

ये भी जानें
’   इंडियन काउंसिल ऑफ मेडिकल रिसर्च के अनुसार मोटापा अपने आप में कोई बीमारी नहीं, लेकिन जीवनशैली से जुड़े अनेक रोगों का प्रमुख कारण जरूर है।
शरीर से पतले होने के बावजूद यदि महिलाओं की कमर का घेरा 80सेमी और पुरुषों का 90 सेमी से ज्यादा है, तो ये मोटापे का संकेत है। ऐसे लोगों को ह्रदय व डायबिटीज रोग होने की आशंका रहती हैे।
’   भारत की 70% आबादी मोटापे या अधिक वजन की श्रेणी में आती है।
’   20% स्कूल जाने वाले बच्चे मोटापे से ग्रस्त हैं।
’   36%किशोर लड़कियों को है पेट की समस्या होती है।
’   हर 12वां भारतीय डायबिटीज से पीड़ित है।
’   61% मृत्यु का कारण जीवनशैली से जुड़े रोग हैं।
’   26% मृत्यु का कारण कार्डियो वैस्कुलर डिजीज है।

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