उत्तर प्रदेश सरकार अब सेमी हाईस्पीड रेल कॉरिडोर परियोजना को आगे बढ़ाने जा रही है। सरकार इसके लिए सलाहकार कंपनी के रूप में राईटस का चयन करेगी। यह कंपनी ही इस परियोजना के लिए विस्तृत सर्वे, एलाइनमेंट, प्रोजेक्ट रिपोर्ट तैयार करने व उससे संबंधित जरूरी सेवाओं का निर्धारण आदि काम करेगी।
इस कोरीडोर में केवल यात्री ट्रेनें ही तेज रफ्तार से चलेंगी। यह आगरा लखनऊ एक्सप्रेस वे और पूर्वांचल एक्सप्रेस वे के समानंतर कॉरिडोर होगा। यूपीडा के सीईओ अवनीश अवस्थी की अध्यक्षता में गुरुवार को हुई बोर्ड बैठक में इस संबंध में निर्णय लिया गया। सलाहकार कंपनी के नाम पर अंतिम निर्णय कैबिनेट की बैठक में लिया जाएगा।
यह प्रोजेक्ट रेल मंत्रालय का है। इसे यूपी सरकार के संयुक्त उपक्रम के तहत बनाया जाएगा। इसके लिए तकनीकी सहयोग केंद्र की संस्था राईटस देगी। यह परियोजना 800 किमी की है। यह आगरा, लखनऊ से होते हुए गाजीपुर व वाराणसी तक जाएगी। 800 किमी का यह सफर सेमी हाईस्पीड ट्रेन के जरिए तीन घंटे में पूरा कराने की तैयारी है। इसमें मालवाहक ट्रेनें नहीं चलेंगी।
बोर्ड बैठक में अवनीश अवस्थी ने बताया कि बुंदेलखंड एक्सप्रेस वे व गोरखपुर लिंक एक्सप्रेस वे दोनों पर जल्द काम शुरू होगा। सीएम योगी आदित्यनाथ रेल मंत्री पीयूष गोयल से इस प्रोजेक्ट पर चर्चा कर चुके हैं। इस प्रोजेक्ट में कितनी लागत आएगी, और कितनी जमीन की जरूरत होगी। इसका सर्वे राईटस कराएगी।