इटावा में समाजवादी पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष और पूर्व मुख्यमंत्री अखिलेश यादव बृहस्पतिवार को अपने पैतृक गांव सैफई में बिल्कुल नए अंदाज में दिखे। इस दौरान अखिलेश ने पीएम मोदी और मायावती पर भी हमला बोला। उन्होंने खुद कुछ बोलने से ज्यादा लोगों से उनकी बातें सुनी। जनसंवाद से आम कार्यकर्ताओं से रूबरू होते हुए लोगों की राष्ट्रीय, संगठनात्मत्मक और स्थानीय मुद्दों पर राय भी जानी। विश्लेषण करते हुए अखिलेश ने कहा कि समाजवादी पार्टी को आज अनुशासन और प्रशिक्षण की बहुत जरूरत है।
जनसंवाद के दौरान उन्होंने युवाओं को बोलने की खुली छूट दी। उनके सामने युवाओं ने दो टूक कहा कि आपसे जुड़े लोग ही भ्रम की स्थिति पैदा करते हैं। जनता की बात आप तक नहीं पहुंचने देते। लगभग सभी ने कहा कि आपके विकास कामों की जनता में पुरजोर चर्चा है। मगर जनभावनाएं वोटों में तब्दील क्यों नही होती, इस पर आप और पार्टी संगठन को गंभीरता से विचार करना चाहिए।
कन्नौज से आए एक कार्यकर्ता ने मायावती के मंच पर पैर छुए जाने को कुत्सित प्रचार में तब्दील किए जाने, वहीं पीएम मोदी के कुंभ में अनुसूचितों के पैर धोने की तारीफ पर अपनी बात रखी। कई ने सलाह दी कि वह अब हर जिले में एक-एक, दो-दो दिन जाकर ठहरें और सीधा जनसंवाद करें। शिकायतें भी कीं कि भाजपा सत्ता का दुरुपयोग कर पार्टी के वरिष्ठ नेताओं और कार्यकर्ताओं का उत्पीड़न रही है|
पूर्व मुख्यमंत्री ने कहा कि समाजवादी पार्टी को आज अनुशासन और प्रशिक्षण की बहुत जरूरत है। जानकारी में आया है कि एक कार्यकर्ता दूसरे को पार्टी के बडे़े नेताओं से मिलने देने में बाधा खड़ी कर रहा है। इससे हमें बचना चाहिए और दूसरे कार्यकर्ताओं को भी मौका देना चाहिए। उन्होंने कहा कि विरोधियों को अगर हराना है तो उनसे अच्छा काम करने की जरूरत है।
कार्यकर्ता बोले कि विरोधी दल के लोग गांव देहात में अपने आप को मजबूत करने में जुटे हुए हैं। उसी ढंग से पार्टी के लोगों को भी मजबूत करने की दिशा में काम करना पड़ेगा। उन्होंने तीन तलाक और आरक्षण मुद्दे पर भी भाजपा सरकार को घेरा। इस मौके पर पूर्व सांसद धर्मेंद्र यादव, तेजप्रताप सिंह यादव, जिला सपा अध्यक्ष गोपाल यादव,सैफई प्रधान दर्शन सिंह यादव, इटावा पालिका अध्यक्ष फुरकान अहमद, सैफई महोत्सव प्रबंधक वेदव्रत गुप्ता के अलावा कई विधायक और एमएलसी भी मौजूद रहे।